HBTU के कुलपति पर लगा बड़ा आरोप राजभवन में शिकायतकर्ता ने दिया शिकायती पत्र। शिकायत पत्र में लिखा 25, 25 लाख लेकर कुलपति ने की है शिक्षक भर्तियां अगर मोबाइल के सीडीआर की हुई जांच तो जाना पड़ेगा कईयों को जेल।
विपिन सागर (मुख्य संपादक)
आचार संहिता से पहले विश्वविद्यालय ने 72 पोस्ट निकाली थी और 8 पर ही नियुक्ति हो पाई थी। विश्वविद्यालय ने रेगुलर नियुक्ति के लिए ओएमआर शीट के बिना ही परीक्षा ले ली जो कि नियम के विरुद्ध है एपीआई की नियमावली को भी ताक पर रख दिया। हालांकि इस मामले को लेकर विश्वविद्यालय में चर्चाएं बनी हुई हैं। साथ ही शिकायतकर्ता को तलाशने की जदोहद लगी हुई है।
जब द हिंदी न्यूज ने इस मामले को लेकर कई जिम्वेदार अधिकारियों से पूंछा तो सब गोलमोल घुमा दिया। सूत्र यह भी बताते हैं। कि कुलपति के खासम खास एक निम्न वर्ग के कर्मचारी ने पूरी प्रक्रिया की सेटिंग कराई है। यह कर्मचारी लखनऊ से कानपुर डेली कार से आना जाना है। जबकि इस कर्मचारी की सैलरी की बात करें तो उनके शौक से कहीं कम होगी। शिकायतकर्ता ने यह भी लिखा है कि अगर चयनकर्ता और विश्वविद्यालय के कुलपति और खासम खास और चयन प्रक्रिया में शामिल कर्मचारियों की मोबाइल सीडीआर की जांच कराई जाए तो हर हाल में विश्वविद्यालय के कई लोगों को जेल जाना पड़ सकता है।
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